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"बैठ करके मौत की या तो प्रतीक्षा कीजिए / डी. एम. मिश्र" के अवतरणों में अंतर
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− | बैठ करके मौत की या तो प्रतीक्षा | + | बैठ करके मौत की या तो प्रतीक्षा कीजिए |
या निकल कर फ़ैसला ख़ुद हाथ में ले लीजिए। | या निकल कर फ़ैसला ख़ुद हाथ में ले लीजिए। | ||
− | आप हैं आतंक के पूरे शिकंजे में कसे | + | आप हैं आतंक के पूरे शिकंजे में कसे |
ज़िंदगी जीना है तो अपनी सुरक्षा कीजिए। | ज़िंदगी जीना है तो अपनी सुरक्षा कीजिए। | ||
− | ये पुलिस केवल दिखावे भर की यारो चीज है | + | ये पुलिस केवल दिखावे भर की यारो चीज है |
अब तो अपने बाहुबल पर ही भरोसा कीजिए। | अब तो अपने बाहुबल पर ही भरोसा कीजिए। | ||
− | उम्र लग जाती हैं लेकिन फै़सला होता नहीं | + | उम्र लग जाती हैं लेकिन फै़सला होता नहीं |
आप दीवानी कचेहरी का सहारा छोड़िये। | आप दीवानी कचेहरी का सहारा छोड़िये। | ||
− | आप मर जायेंगे भूखे रास्ता लंबा बड़ा है | + | आप मर जायेंगे भूखे रास्ता लंबा बड़ा है |
शर्त जीने की यही है आप जीना सीखिये। | शर्त जीने की यही है आप जीना सीखिये। | ||
− | देखियेगा रास्ते पर लोग खुद आ जांयेगे | + | देखियेगा रास्ते पर लोग खुद आ जांयेगे |
दुर्व्यवस्था ख़त्म हो तरकीब कोई सोचिये। | दुर्व्यवस्था ख़त्म हो तरकीब कोई सोचिये। | ||
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17:01, 23 अगस्त 2017 के समय का अवतरण
बैठ करके मौत की या तो प्रतीक्षा कीजिए
या निकल कर फ़ैसला ख़ुद हाथ में ले लीजिए।
आप हैं आतंक के पूरे शिकंजे में कसे
ज़िंदगी जीना है तो अपनी सुरक्षा कीजिए।
ये पुलिस केवल दिखावे भर की यारो चीज है
अब तो अपने बाहुबल पर ही भरोसा कीजिए।
उम्र लग जाती हैं लेकिन फै़सला होता नहीं
आप दीवानी कचेहरी का सहारा छोड़िये।
आप मर जायेंगे भूखे रास्ता लंबा बड़ा है
शर्त जीने की यही है आप जीना सीखिये।
देखियेगा रास्ते पर लोग खुद आ जांयेगे
दुर्व्यवस्था ख़त्म हो तरकीब कोई सोचिये।