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मेरा ठिकाना क्या पूछो हो / सुरेश सलिल
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मेरा ठिकाना क्या पूछो हो
रचनाकार | सुरेश सलिल |
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प्रकाशक | अमित प्रकाशन,के.बी. 97, कविनगर, गाजियाबाद-201002 |
वर्ष | प्रथम संस्करण : 2004 |
भाषा | हिन्दी |
विषय | |
विधा | |
पृष्ठ | 80 |
ISBN | |
विविध |
इस पन्ने पर दी गई रचनाओं को विश्व भर के स्वयंसेवी योगदानकर्ताओं ने भिन्न-भिन्न स्रोतों का प्रयोग कर कविता कोश में संकलित किया है। ऊपर दी गई प्रकाशक संबंधी जानकारी छपी हुई पुस्तक खरीदने हेतु आपकी सहायता के लिये दी गई है।
- मेरा ठिकाना क्या पूछो हो (कविता) / सुरेश सलिल
- ये कैसा जहाँ है या रब / सुरेश सलिल
- मुश्किल से लिखा जाता है... / सुरेश सलिल
- हर्फ़े-गुजरात फ़क़त आँसू हैं / सुरेश सलिल
- सहरा में छटपटाता हुआ... / सुरेश सलिल
- पहलु-ए-ख़्वाब में भी... / सुरेश सलिल
- कैसी आवाज़ आपने पाई / सुरेश सलिल
- आप हैं; आबशार हो गोया / सुरेश सलिल
- ये' रात का तीसरा पहर है / सुरेश सलिल
- इस्टेशन पर आई ट्रेन / सुरेश सलिल
- राज़ की बात राज़ रहने दो / सुरेश सलिल
- ख़्वाब में उनका यूँ आना... / सुरेश सलिल
- क़हत की रात में... / सुरेश सलिल
- आओ सियाह रात की... / सुरेश सलिल
- आओ न हम भी तोड़ दें... / सुरेश सलिल
- रूदाद-ए-चमन, छोड़िए,... / सुरेश सलिल
- ज़माने की थकी आवाज़ हूँ मैं / सुरेश सलिल
- देखिए तो ज़रा आइने में अपना चेहरा / सुरेश सलिल
- वो सामने आने से तो इन्कार करे है / सुरेश सलिल
- बहुत दिनों पर आया चाँद / सुरेश सलिल
- साहिबे-बज़्म ने न पहचाना / सुरेश सलिल
- रोज़-ओ-शब मेरे पास हो तुम तो / सुरेश सलिल
- आप होते हैं, रातें होती हैं / सुरेश सलिल
- तुम सामने आते हो, पहलू बदल बदल कर / सुरेश सलिल
- तुमने कोई सवाल पूछा है / सुरेश सलिल
- कोई औचक झँझोड़ जाता है / सुरेश सलिल
- बहुत भरमे इस सफ़र में / सुरेश सलिल
- इस सफ़र में / सुरेश सलिल
- क्या कहूँ, कहने को र्हा क्या है / सुरेश सलिल
- चार शे'र / सुरेश सलिल
- आपका दावा-ए-मक्रून साजिशाना है / सुरेश सलिल
- जंगल-जंगल, बस्ती-बस्ती / सुरेश सलिल
- दास्तान-ए-ज़िंदगी में अब... / सुरेश सलिल
- ग़ैर मुमकिन कि आप मुझसे जुदा हो जाएँ / सुरेश सलिल
- नदी के घाट पर जब... / सुरेश सलिल
- बस्स यही अहसास / सुरेश सलिल
- टूटती रहती है नींद... अक्सर / सुरेश सलिल
- दिल के सिवा / सुरेश सलिल
- रात / सुरेश सलिल
- तर्ज़े-ज़िंदगी / सुरेश सलिल
- ख़ैरियत इसी में है / सुरेश सलिल
- अगर्चे / सुरेश सलिल
- बीनाई / सुरेश सलिल
- रात भर / सुरेश सलिल
- शाम / सुरेश सलिल
- दरहम-बरहम / सुरेश सलिल
- आसमानी नूर / सुरेश सलिल
- मैं तो आहंग हूँ / सुरेश सलिल
- अजब तमाशा / सुरेश सलिल
- काल से होड़ ले रहे तीनों / सुरेश सलिल
- लाल सलाम! / सुरेश सलिल
- लाल झंडा / सुरेश सलिल
- रुबाई-क़त्-शे'र / सुरेश सलिल