भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
सदस्य योगदान
Kavita Kosh से
(सबसे नया | सबसे पुराना) देखें (नये 50 | पुराने 50) (20 | 50 | 100 | 250 | 500)
- 18:57, 14 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,885) . . न हर्फ़ सारे खो गए और है क़लम बहकी हुई / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 18:48, 14 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+90) . . चीड़ के जंगल खड़े थे देखते लाचार से / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 18:45, 14 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,255) . . न पसीने में पिघलते पस्त दिन की सब थकन गुम है / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 18:40, 14 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,620) . . न नीली है, गुलाबी है, ये धानी है कहानी / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 18:35, 14 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+97) . . सीखो आँखें पढ़ना साहिब / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 21:11, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,907) . . पाल ले इक रोग नादाँ / गौतम राजऋषि
- 20:50, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+147) . . हैं जितनी परतें यहाँ आसमान में शामिल / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 20:42, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,464) . . न उफ़ ये कैसी कशिश ! बेबसी ? हाँ वही ! / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:38, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,845) . . न हरी है ये ज़मीं हमसे कि हम तो इश्क़ बोते हैं / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:33, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,757) . . न ढीठ सूरज बादलों को मुँह चिढ़ाने के लिए / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:29, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,757) . . न सच के लिए तूने उठाया सर, भले कुछ देर से / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:25, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,642) . . न वो टुकड़ा रात का बिखरा हुआ सा / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:20, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,063) . . न ख़ुद से ही बाज़ी लगी है / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:17, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+44) . . रात भर चाँद को यूँ रिझाते रहे / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 20:15, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,801) . . न हम पर जो असर एक ज़माने से हुआ है / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:10, 12 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+10) . . वो जब अपनी ख़बर दे है / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 20:38, 11 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+76) . . वो जब अपनी ख़बर दे है / गौतम राजरिशी
- 20:36, 11 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,540) . . न गुज़र जाएगी शाम तकरार में / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:32, 11 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+198) . . इस बात को वैसे तो छुपाया न गया है / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 20:27, 11 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,010) . . न उलझ के ज़ुल्फ़ में उनकी गुमी दिशाएँ हैं / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 20:23, 11 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+62) . . रात भर चाँद को यूँ रिझाते रहे / गौतम राजरिशी
- 19:57, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+41) . . रात भर चाँद को यूँ रिझाते रहे / गौतम राजरिशी
- 19:56, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+77) . . हुई राह मुश्किल तो क्या कर चले / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 19:54, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,827) . . न बस गई है रग-रग में बामो-दर की ख़ामोशी / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 19:48, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,751) . . न शोर है क़द-काठी का, पैमाइशों की बात हो / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 19:37, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,766) . . न हवा ये कैसी चली माजरा ये कैसा है / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 19:31, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,334) . . न तेज़ हवा के इक झोंके ने जब बादल का नाम लिखा / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 19:19, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+79) . . अब के ऐसा दौर बना है / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 19:15, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,704) . . न धूप लुटा कर सूरज जब कंगाल हुआ / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 19:08, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,629) . . न उकसाने पर हवा के आँधी से भिड़ गया है / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 19:01, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,080) . . न बंधा धागे से था फिर वो बेचारा मचल उट्ठा / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 18:55, 10 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,241) . . न ज़िंदगी से उम्र भर तक चलने का वादा किया / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 14:03, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,825) . . पाल ले इक रोग नादाँ / गौतम राजऋषि
- 13:41, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,465) . . न आइनों पर आज जमी है काई, लिख / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 13:35, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,554) . . न ज़ुल्फ़ से लिपटा जब तौलिया हट गया / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 13:29, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,069) . . न उठ ऐ क़लम संवाद कर / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 13:23, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,556) . . न कुछ मेरी ज़िंदगी को भी आयाम दे / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 13:12, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,947) . . न सुबह से ही धौंस देती गर्मियों की ये दुपहरी / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 13:05, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1) . . कितने ख़्वाबों के पर टूटे कितने उड़ने वाले हैं / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 13:04, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+73) . . ज़रा तूफ़ान से परवाज़ का जब सामना निकला / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 13:02, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+66) . . झूठ बोलेगा तो ये आलम तेरा हो जायेगा / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 12:59, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,970) . . न कितने ख़्वाबों के पर टूटे कितने उड़ने वाले हैं / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
- 12:49, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,916) . . न ज़रा तूफ़ान से परवाज़ का जब सामना निकला / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
- 12:43, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,765) . . न एक मुद्दत से हुये हैं वो हमारे यूँ तो / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 12:37, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,919) . . न ऊँड़स ली तू ने जब साड़ी में गुच्छी चाभियों वाली / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 12:31, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+2,248) . . न ज़िंदगी से उम्र भर तक चलाने का वादा किया / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 12:25, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,063) . . न उनका एक बयान हुआ / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
- 12:21, 7 फ़रवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,689) . . न झूठ बोलेगा तो ये आलम तेरा हो जायेगा / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
- 21:13, 28 जनवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+158) . . चुभती-चुभती सी ये कैसी पेड़ों से है उतरी धूप / गौतम राजरिशी (मौजूदा)
- 21:08, 28 जनवरी 2016 (अंतर | इतिहास) . . (+1,764) . . न तू जिसकी ताक में मचान पर यूँ बेक़रार है / गौतम राजरिशी ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=गौतम राजरिशी |संग्रह=पाल ले इक रो...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) (मौजूदा)
(सबसे नया | सबसे पुराना) देखें (नये 50 | पुराने 50) (20 | 50 | 100 | 250 | 500)