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'अना' क़ासमी से जुड़े हुए पृष्ठ
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देखें (पिछले 50 | अगले 50) (20 | 50 | 100 | 250 | 500)- कुछ चलेगा जनाब, कुछ भी नहीं / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- ये शबे-अख़्तरो-क़मर चुप है / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- छू जाए दिल को ऐसा कोई फ़न अभी कहाँ / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- जो ज़बाँ से लगती है वो कभी नहीं जाती / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- वो अभी पूरा नहीं था हाँ मगर अच्छा लगा /'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- बचा ही क्या है हयात में अब सुनहरे दिन तो निपट गये हैं / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- वो अभी पूरा नहीं था हाँ मगर अच्छा लगा / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- हमारे बस का नहीं है मौला ये रोज़े-महशर हिसाब देना / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- बर्थ पर लेट के हम सो गये आसानी से / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- चलो जाओ ,हटो कर लो तुम्हें जो वार करना है / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- तेरी इन आंखों के इशारे पागल हैं / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- अब हलो हाय में ही बात हुआ करती है / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- अक्सर मिलना ऐसा हुआ बस / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- उल्फ़त का फिर मन है बाबा / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- मेरा खूने-जिगर होने को है फिर / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- आप इस छोटे से फ़ितने को जवां होने तो दो / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- जाने क्या दुश्मनी है शाम के साथ / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- आराइशे-खुर्शीदो-क़मर किसके लिए है / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- रोज़ चिकचिक में सर खपायें क्या / 'अना' क़ासमी (← कड़ियाँ)
- हवाओं के साज़ पर/ 'अना' कासमी (← कड़ियाँ)
- ख़बर है दोनों को दोनों से दिल लगाऊँ मैं/ ‘अना’ (← कड़ियाँ)
- बहुत वीरान लगता है तेरी चिलमन का सन्नाटा / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- ख़बर है दोनों को दोनों से दिल लगाऊँ मैं/ ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- खेंची लबों ने आह के सीने पे आया हाथ / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- कभी हां कुछ मिरे भी शेर के पैकर में रहते हैं / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- माने जो कोई बात तो इक बात बहुत है / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- दिल की हर धड़कन है बत्तिस मील में / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- ये अपना मिलन जैसे इक शाम का मंज़र है / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- कवर टिप्पणी / डॉ.बशीर बद्र (← कड़ियाँ)
- कभी वो शोख़ मिरे दिल की अंजुमन तक आए/ ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- ये फ़ासले भी सात समुन्दर से कम नहीं / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- बाजुओ पर दिये परवाजे़ अना दी है मुझे / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- वो आसमाँ मिज़ाज कहां आसमाँ से था / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- रहता है मशग़ला जहां बस वाह वाह का / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- खामोश यूं खड़े है शजर रहगुज़र के बीच / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- शाम के साने से जब आंचल ढले / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- क़तआत / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- रूठना मुझसे मगर खुद को सज़ा मत देना / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- जा चुका है सब तो अब क्या जाएगा / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- भूमिका / डॉ. बहादुर सिंह परमार (← कड़ियाँ)
- जब कोई उसपे जान देने लगे / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- किससे पूछूं ऐ फ़लक़ हालात का सूरज है कौन / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- ज़ख़्म महकेंगे तो आहों में असर भी आएगा / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- कजकुलाही से न मतलब रेशमी शालों से है / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- दोज़ख सी ये दुनिया भी सुहानी है कि तुम हो / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- वाक़या है या के तेरा जिक्र अफ़सानों में है / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- मसलहत खे़ज़ ये रियाकारी / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- मिरी ख़ातिर ये नादानी करोगे / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- गेसू घटा हैं बर्क़ नज़र में समाई है / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)
- खिल उठा फूल सा बदन उसका / ‘अना’ क़ासमी (← कड़ियाँ)