त्रिलोक सिंह ठकुरेला
जन्म | 01 अक्तूबर 1966 |
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जन्म स्थान | नगला मिश्रिया, हाथरस, उत्तर प्रदेश |
कुछ प्रमुख कृतियाँ | |
नया सवेरा (बाल साहित्य), काव्यगंधा (कुण्डलियाँ संग्रह) | |
विविध | |
राजस्थान साहित्य अकादमी द्वारा 'शम्भूदयाल सक्सेना बाल साहित्य पुरस्कार' | |
जीवन परिचय | |
त्रिलोक सिंह ठकुरेला / परिचय |
त्रिलोक सिंह ठकुरेला के बालगीत
- ऐसा वर दो / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- जागरण / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- नया सवेरा लाना तुम / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- मीठी बातें / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- सीख / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- अंतरिक्ष की सैर / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- तितली / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- रेल / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- चिड़ियाघर / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- पेड़ / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- गुब्बारे / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- वर दो, लड़ने जाऊँगा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- हम नन्हेनन्हे बच्चे / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- पापा, मुझे पतंग दिला दो / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- पढ़ना अच्छा रहता है / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- सपने / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- दीवाली / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- साईकिल / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- उपवन के फूल / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- प्यारी नानी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- पानी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- देश हमारा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- गाड़ी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- मैया, मैं भी कृष्ण बनूँगा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- बादल / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- प्रेम सुधा बरसायें / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- नया वर्ष / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- चंदा मामा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
कुंडलियाँ
- अपनी अपनी अहमियत / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- सोना तपता आग में / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- होता है मुश्किल वही / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- मानव की कीमत तभी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- पाया उसने ही सदा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- रत्नाकर सबके लिए / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- आगे बढता साहसी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- थोथी बातों से कभी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- मन ललचाता ही रहे / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- जिसने झेली दासता / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- मालिक है सच में वही / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- सीढ़ी दर सीढ़ी चढ़ा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- भातीं सब बातें तभी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- हँसना सेहत के लिए / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- खटिया छोड़ें भोर में / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- मिलती है मन को खुशी / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
गीत / नवगीत
- मन का उपवन / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- शंखनाद के सुर / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- प्रिये! तुम्हारा ऋणी रहूंगा / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- खिलता हुआ कनेर / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- जीवंत जैसा नीम / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- हरसिंगार रखो / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- रोशनी की ही विजय हो / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- समय की पगडंडियों पर / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- बीत गए युग दीप जलाते / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- उपलव्धियों के शिखर / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- देश / त्रिलोक सिंह ठकुरेला
- शंख में रण-स्वर भरो अब / त्रिलोक सिंह ठकुरेला