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मैथिली लोकगीत
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भारत के लोकगीत
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- सावन-भादों मे बलमुआ हो चुबैये बंगला / मैथिली
- कौने रंग मुंगवा, कौने रंग मोतिया, हो कौने रंग ननदी तोरे बिरना? / मैथिली
सोहर गीत
- पहलि पहर राती बितल सब लोग सुतल रे / मैथिली
- पान स धानि पातरि कुसुम सन सुन्दर रे / मैथिली
- गाछ सुतल तोहे सुगना कि तोहु सीताराम कहु रे ललना रे / मैथिली
- सुन्दरि चलली गंगादह रे आओर यमुना दह रे / मैथिली
- किये मोरा कागा रे बाब आओता किये मोरा भईया / मैथिली
- प्रथम मास ज बसायल चरण ऋतु आयल रे ललना / मैथिली
- हंसि हंसि देवकी नहाओल हंसि गृह आवोल रे ललना / मैथिली
- एकहीं रोपल गाछ दोसर जामुन गाछ रे ललना / मैथिली
- कौने बन फ़ुलय अहेली कौने बन बेली फ़ूल रे ललना / मैथिली
- केकराही अंगना चानन गाछ चानन मंजरी गेल रे ललना / मैथिली
- देवकी चलली नहाय की मन पछताइक रे ललना / मैथिली
- भऊजी छली गर्भ स नन्दी अरजी करु रे ललना / मैथिली
- पलंगा सुतल आहां पिया अहीं मोर पिया थीक हे / मैथिली
- सोना के सिंहासन बैसल राम सीता स बिचार पुछु रे ललना / मैथिली
भगवती गीत
- दुर्गा नाम तोहार हे जननी… / मैथिली
- हम अबला अग्यान हे जननी / मैथिली
- आब नहिं बाचत पति मोर हे जननी / मैथिली
- सुनु सुनु जगदम्ब आहां हमर अवलम्ब / मैथिली
- हे जगदम्ब जगत मां अम्बे प्रथम प्रणाम करई छी हे! / मैथिली
- अवई अछि नाव नहिं भव स कदाचित ललित छी अपने / मैथिली
- वीनती सुनु जगतारिणि मईया शरण आहांक हम आयल छी / मैथिली
- करु भवसागर पार हे जननी करु भवसागर पर / मैथिली
- काली नाम तोहार हे जननी!… / मैथिली
- युग युग स नाच नचा रहलंउ भव मंच ऊपर जननी हमरा / मैथिली
- वरदान अहां स कोना मांगु आशीषक आश किया नै करु / मैथिली
'" कन्यादान'"
'" नचारी'"
'" लड़की की शादी'"
'" प्राति'"