भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

"उजाले अपनी यादों के / बशीर बद्र" के अवतरणों में अंतर

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
पंक्ति 83: पंक्ति 83:
 
* [[मेरी आँखों में ग़म की निशानी नहीं / बशीर बद्र]]
 
* [[मेरी आँखों में ग़म की निशानी नहीं / बशीर बद्र]]
 
* [[हमसे मुसाफ़िरों का सफ़र इंतज़ार है  / बशीर बद्र]]
 
* [[हमसे मुसाफ़िरों का सफ़र इंतज़ार है  / बशीर बद्र]]
* [[ख़ुश्बुओं  को तितलियों के परों में छिपाऊंगा / बशीर बद्र]]
+
* [[ख़ुश्बू को तितलियों के परों में छिपाऊंगा / बशीर बद्र]]
 
* [[अगर यकीं नहीं आता तो आजमाए  मुझे  / बशीर बद्र]]
 
* [[अगर यकीं नहीं आता तो आजमाए  मुझे  / बशीर बद्र]]
 
* [[सुनसान रास्तों से सवारी न आएगी  / बशीर बद्र]]
 
* [[सुनसान रास्तों से सवारी न आएगी  / बशीर बद्र]]

20:51, 14 अक्टूबर 2009 का अवतरण

उजाले अपनी यादों के
Ujaleapniyaadonke1.JPG
रचनाकार बशीर बद्र
प्रकाशक वाणी प्रकाशन
वर्ष 2003
भाषा हिन्दी
विषय
विधा ग़ज़ल
पृष्ठ 115
ISBN
विविध बशीर बद्र जी की कुछ चुनिंदा ग़ज़लों का यह ग़ज़ल संग्रह विजय वाते जी द्वारा संपादित है
इस पन्ने पर दी गई रचनाओं को विश्व भर के स्वयंसेवी योगदानकर्ताओं ने भिन्न-भिन्न स्रोतों का प्रयोग कर कविता कोश में संकलित किया है। ऊपर दी गई प्रकाशक संबंधी जानकारी छपी हुई पुस्तक खरीदने हेतु आपकी सहायता के लिये दी गई है।