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जो राख होने से बचे हैं अभी तक / ब्रजेश कृष्ण
Kavita Kosh से
जो राख होने से बचे हैं अभी तक
रचनाकार | ब्रजेश कृष्ण |
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प्रकाशक | आधार प्रकाशन, पंचकूला |
वर्ष | 2010 |
भाषा | हिन्दी |
विषय | |
विधा | छंदमुक्त कविता |
पृष्ठ | 128 |
ISBN | 978-81-7675-232-9 |
विविध |
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इस पुस्तक में संकलित रचनाएँ
हड़बड़िया समय में
- तटस्थता / ब्रजेश कृष्ण
- सब कुछ मेरे सामने / ब्रजेश कृष्ण
- जम्हाई की ज़रूरत / ब्रजेश कृष्ण
- पंचतन्त्र / ब्रजेश कृष्ण
- हड़बड़िया समय में / ब्रजेश कृष्ण
- उत्तरदायित्व / ब्रजेश कृष्ण
- मुँहफट लोग / ब्रजेश कृष्ण
- शहर में सभा / ब्रजेश कृष्ण
- सोच / ब्रजेश कृष्ण
- अत्याचारी / ब्रजेश कृष्ण
- जो राख होने से बचे हैं... / ब्रजेश कृष्ण
- जहाँपनाह और मैं / ब्रजेश कृष्ण
- खेल / ब्रजेश कृष्ण
- ठण्ड और कोहरे का... / ब्रजेश कृष्ण
- कैसा समय / ब्रजेश कृष्ण
- रुकी हुई बस में चुटकलों... / ब्रजेश कृष्ण
- डायरी से एक पन्ना / ब्रजेश कृष्ण
- चारपाई की दुकान / ब्रजेश कृष्ण
- हत्या: एक कला / ब्रजेश कृष्ण
- महानायक / ब्रजेश कृष्ण
- देशहित / ब्रजेश कृष्ण
- चुप्पी / ब्रजेश कृष्ण
- शहर में जादूगर / ब्रजेश कृष्ण
- रईसज़ादे / ब्रजेश कृष्ण
- सवाल / ब्रजेश कृष्ण
- मुड़कर देखना / ब्रजेश कृष्ण
- उत्सवपूर्ण समय / ब्रजेश कृष्ण
- नये प्रयोग / ब्रजेश कृष्ण
- बाज़ार / ब्रजेश कृष्ण
लुप्त होती हुई चीज़ें
- पिता और लड़की / ब्रजेश कृष्ण
- जंगल / ब्रजेश कृष्ण
- स्त्री / ब्रजेश कृष्ण
- माँ की बची हुई हँसी / ब्रजेश कृष्ण
- माँ और उसकी साथिनें / ब्रजेश कृष्ण
- लुप्त होती हुई चीज़ें / ब्रजेश कृष्ण
- इन दिनों वह-1 / ब्रजेश कृष्ण
- इन दिनों वह-2 / ब्रजेश कृष्ण
- घर / ब्रजेश कृष्ण
- मेरे स्वप्न / ब्रजेश कृष्ण
- नाम / ब्रजेश कृष्ण
- क्या तुम जानती हो?... / ब्रजेश कृष्ण
- एक नन्हीं बच्ची के लिए / ब्रजेश कृष्ण
- ग़नीमत है / ब्रजेश कृष्ण
- बूढ़े का घर बनाना / ब्रजेश कृष्ण
- घर से पहले घर / ब्रजेश कृष्ण
- कितना कम जानता हूँ मैं / ब्रजेश कृष्ण
- माँ के लिए / ब्रजेश कृष्ण
- दादी / ब्रजेश कृष्ण
- अनार / ब्रजेश कृष्ण
- बहुत दिनों बाद एक खिड़की / ब्रजेश कृष्ण
- लौटना / ब्रजेश कृष्ण
- प्रार्थना / ब्रजेश कृष्ण
घर में तिलचट्टे
- मुन्नू मियाँ की गली / ब्रजेश कृष्ण
- मैं और मेरा पड़ोसी / ब्रजेश कृष्ण
- वह कौन / ब्रजेश कृष्ण
- बसन्त / ब्रजेश कृष्ण
- महुए का पेड़ / ब्रजेश कृष्ण
- सहस्त्राब्दी / ब्रजेश कृष्ण
- बच्चे और बूढ़े / ब्रजेश कृष्ण
- कुत्ते और आदमी / ब्रजेश कृष्ण
- घर में तिलचट्टे / ब्रजेश कृष्ण
- नाम की तख़्ती / ब्रजेश कृष्ण
- विद्वान / ब्रजेश कृष्ण
- इच्छाएँ / ब्रजेश कृष्ण
- बग़ीचे में नौकर / ब्रजेश कृष्ण
- अँधेरे में उतार दी गई वह / ब्रजेश कृष्ण
- संग्रहालय में सिद्धार्थ / ब्रजेश कृष्ण
- बुद्ध से / ब्रजेश कृष्ण
- विपर्यय / ब्रजेश कृष्ण
- संयोग / ब्रजेश कृष्ण
- वहाँ से / ब्रजेश कृष्ण
कुरुक्षेत्र डायरी