भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

रामेश्वर काम्बोज 'हिमांशु'

Kavita Kosh से
वीरबाला (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 05:01, 22 दिसम्बर 2022 का अवतरण (कुछ प्रतिनिधि रचनाएँ)

यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

रामेश्वर काम्बोज 'हिमांशु'
Rameshwer dayal kamboj.jpg
जन्म 19 मार्च 1949
निधन
उपनाम हिमांशु
जन्म स्थान ग्राम हरिपुर, तहसील बेहट, जिला सहारनपुर, उत्तर प्रदेश, भारत
कुछ प्रमुख कृतियाँ
खूँटी पर टँगी आत्मा (व्यंग्य-संग्रह), मेरे सात जनम (हाइकु-संग्रह) , मिले किनारे (ताँका-चोका -संग्रह), चन्दनमन (हाइकु संग्रह), भाव-कलश (ताँका संग्रह) दोनों संग्रह भावना कुँअर के साथ सम्पादित, उजास साथ रखना (चोका संग्रह) भावना कुँअर और डॉ हरदीप सन्धु के साथ सम्पादित, डॉ. सुधा गुप्ता के हाइकु में प्रकृति (रागात्मक मनोभूमि: संचयन और संचरण)
विविध
--
जीवन परिचय
रामेश्वर काम्बोज 'हिमांशु' / परिचय
कविता कोश पता
www.kavitakosh.org/{{{shorturl}}}

रचना-संग्रह

सम्पादित

कुछ प्रतिनिधि रचनाएँ

मुक्तक

नवगीत

दोहे

माहिया

हाइकु

ताँका

सेदोका

चोका

-0-

क्षणिकाएँ

बाल कविताएँ

(मेरी नानी, भारी बस्ता, पत्ता, दादा जी, रोमा)
(चाचा जी का बन्दर, तारे, तितली रानी, नन्हीं चींटी, मुर्गा बोला)
(माली, मोर, माता-पिता, बापू, तिरंगा)
(तोता, फल, मोटूराम, मेंढक जी, सवाल)
(रेल चली, हाथी दादा, प्यारे बादल, सावन आया, बादल)
(जब खेलने आये बच्चे, हरी पत्तियाँ, अक्कड़-बक्कड़)
(लोरी, आ भाई सूरज, धूप की चादर)
(हम चाँद बनेंगे, सूरज का गुस्सा, सबसे प्यारे, दो बदमाश )
(लाल बुझक्कड़, मेरे मामा, गुड़िया रानी )
(मेरा घोड़ा, काली बिल्ली, देश हमारा)
(हुआ सवेरा, प्यारे पक्षी, मीठी बोली)
(जंगल का गीत, बन्दर अफ़लातून, नटखट बन्दर)
(जब सूरज जग जाता है, मेरे घोड़े दौड़ लगा )
(गैया, गीत, सर्कस, नेवले की जीत, सवारी)
(पेड़ लगाओ, मेरी गुड़िया, विद्यालय, मदारी, प्रार्थना)
(पेड़ , नीम)
( हवा का झोंका, धूप)
(बौने दिन , धूप की चादर)
(बादल भैया, जगमग तारे)
( गुड़िया रानी , मुनिया रानी, ओ मेरी मैया !, खेली ऐसी होली, हरियाली ने बौर सजाया)
( अक्कड़-बक्कड़ बम्बे बो, लाल बुझक्कड़ ,जब खेलने आए बच्चे )